धाब जे अहाँ हमर करेजकेँ देलहुँ
ओ सबटा दर्द दुनियाँसँ नुका लेलहुँ
मुस्कीसँ हमर नै बुझू जे हम खुश छी
अहाँक खुशी लेल नोरकेँ पी गेलहुँ
© जगदानन्द झा ‘मनु’
धाब जे अहाँ हमर करेजकेँ देलहुँ
ओ सबटा दर्द दुनियाँसँ नुका लेलहुँ
मुस्कीसँ हमर नै बुझू जे हम खुश छी
अहाँक खुशी लेल नोरकेँ पी गेलहुँ
© जगदानन्द झा ‘मनु’
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