मंगलवार, 20 दिसंबर 2016

गजल

सौंसे दाबल अछि आँजुर भरि संघर्ष
किछुए बाँचल अछि आँजुर भरि संघर्ष

ओ अनलथि हीरा मोती हुनका लेल
हमहूँ आनल अछि आँजुर भरि संघर्ष

नोटक संगे भोटक संगे घुमि घुमि कऽ
बहुते नाचल अछि आँजुर भरि संघर्ष

सुंदर हाथें बिच्चे आँगनमे खूब
अरिपन पाड़ल अछि आँजुर भरि संघर्ष

चिन्हारो एतै अनचिन्हारक बाद
ता धरि राखल अछि आँजुर भरि संघर्ष

सभ पाँतिमे 22-22-22-22-221 मात्राक्रम अछि
सुझाव सादर आमंत्रित अछि

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तोहर मतलब प्रेम प्रेमक मतलब जीवन आ जीवनक मतलब तों