सोमवार, 29 जून 2020

गजल

करिते रहलै मारि बात
धरिते रहलै डारि पात

हुनकर हँसी चूड़ा दही
हुनकर तामस दूध भात

एक दू तीन चारि पाँच
केने छै अनेको घात

कनी सुगंध कनी अवाज
पसरि गेलै चारू कात

बिच्चे बैसल धनी मनी
बाँकी सभ तँ काते कात

सभ पाँतिमे 22-22-22-2  मात्राक्रम अछि। दू अलग-अलग लघुकेँ दीर्घ मानबाक छूट लेल गेल अछि। सुझाव सादर आमंत्रित अछि।

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तोहर मतलब प्रेम प्रेमक मतलब जीवन आ जीवनक मतलब तों