शनिवार, 12 जुलाई 2014

गजल


गेलहुँ हम हुनका लग
एलथि ओ हमरा लग

चोट छलै पैघ मुदा
बजबै हम ककरा लग

रंगक धुरखेलामे
करिया छै उजरा लग

हुनकर देह हमर देह
धधरा छै धधरा लग

बनि गेलै जोग हमर
अपने छथि पतरा लग

सभ पाँतिमे 22+22+22 मात्राक्रम अछि।
दू टा अलग-अलग शब्दक लघुकेँ एकटा दीर्घ मानबाक छूट लेल गेल अछि।
चारिम शेरक पहिल पाँतिक अंतिम लघु अतिरिक्त छूट अछि।
सुझाव सादर आमंत्रित अछि

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तोहर मतलब प्रेम प्रेमक मतलब जीवन आ जीवनक मतलब तों