गजल-५९
लाजसँ लाल भेलौं अहाँ
आँचरिमे नुकेलौं अहाँ
सुनु धड़कै करेजा कते
सोझसँ कात भेलौं अहाँ
लाजसँ लोल दबने मुदा
आंखिसँ बाजि गेलौं अहाँ
कारी आंखि काजर सजल
जानसँ मारि देलौं अहाँ
सुनि "नवलक" सिनेहक गजल
जगके छोड़ि एलौं अहाँ
>बहरे मुक्तबिज/मात्रा क्रम :२२२१+२२१२
(तिथि:२२.०६.२०१३)
©पंकज चौधरी (नवलश्री)
लाजसँ लाल भेलौं अहाँ
आँचरिमे नुकेलौं अहाँ
सुनु धड़कै करेजा कते
सोझसँ कात भेलौं अहाँ
लाजसँ लोल दबने मुदा
आंखिसँ बाजि गेलौं अहाँ
कारी आंखि काजर सजल
जानसँ मारि देलौं अहाँ
सुनि "नवलक" सिनेहक गजल
जगके छोड़ि एलौं अहाँ
>बहरे मुक्तबिज/मात्रा क्रम :२२२१+२२१२
(तिथि:२२.०६.२०१३)
©पंकज चौधरी (नवलश्री)
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