मोनो बाँटि रहलै जमीन जकाँ
लच्छन सभ लगैए अमीन जकाँ
बितलै साँझ दिन भोर राति हुनक
चुप्पेचाप छथि ओ मशीन जकाँ
हमरा देखलथि आइ नीकसँ ओ
अजुका दिन लगैए सुदीन जकाँ
बुझिए गेल हेबै अहूँ तँ कने
मोनक बीच रेघा महीन जकाँ
आँखिक नोर एलै करेजसँ आ
हुनकर दर्द बनलै करीन जकाँ
सभ पाँतिमे 2221+22+121+12 मात्राक्रम अछि।
सुझाव सादर आमंत्रित अछि।
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