बुधवार, 1 जनवरी 2014

गजल



अपन संग होइक बस सभ हालमे 
नवल सोच होइक ऐ नब सालमे 

चलू फेर सभ गोटे मिलि जाइ आ 
खिला दी कमल सगरो महि थालमे 
बदलि लेब दुनियाकेँ अपनेसँ हम
रहत फेर तागत नै जंजालमे  

समयकेँ त कोसब वीरक बानि नै 
बड़ी शान सौरभ छै सुरतालमे 

सखा यैह राजीवक शुभकामना 
रही स्वस्थ सुधिगर सभ सभकालमे 

१२२१ २२२ २२१२ 

@ राजीव रंजन मिश्र

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तोहर मतलब प्रेम प्रेमक मतलब जीवन आ जीवनक मतलब तों