गुरुवार, 24 मई 2012

हजल


हजल

गुरूजी बैसलाह खोलि खटाल

चेलवा बनलनि गुरू घंटाल ।


घूर जरौलन्हि पोथी केर टाल

दूध बेचि कऽ देखू भेला नेहाल ।


ईसकुल जाऽकऽ भेलाह कंगाल

माल पोसिकऽ भेलाह मालामाल।


पशुगणना कऽ फुटलनि भाल

पशुपालन सँ रुपैयाक टाल ।


घी-दूध पीबि भेलनि देह लाल

आब अखाड़ा बिच ठोकथि ताल ।


गुरुआनिक गजबे रंगताल

ठोरक संग-संग रांगथि गाल ।


गुरुजी बैसलाह खोलि खटाल

ज्ञानक पूँजीओ गेलनि पताल ।-------वर्ण-१२-----------

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तोहर मतलब प्रेम प्रेमक मतलब जीवन आ जीवनक मतलब तों