सोमवार, 7 मई 2012

गजल


गजल-३२

उजरल गाछी जँका लगैछै गाम हमर

चुप्पी सधने किएक कनैछै गाम हमर

नवकी कनिञा जँका छलैजे गाम हमर

विधवा नारी बनल कनैछै गाम हमर

भरले-पुरले हँसै छलैजे गाम हमर

टूअर टापर जँका फिरैछै गाम हमर

प्रीतक पाँती गबय छलैजे गाम हमर

उकटा-पैंची किएक करैछै गाम हमर

निर्मल-निश्छल बास छलैजे गाम हमर

"चंदन" किए डेरौन लगैछै गाम हमर

-----वर्ण-१६-------

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तोहर मतलब प्रेम प्रेमक मतलब जीवन आ जीवनक मतलब तों