सब जन क रहल मनमाना
छोट -पैघ सब आइ काल्हि भैया
रुपैया कए सब भेल दिवाना
छोटका बच्चा कहै यै दूर छि जो
नहि खेबै साग रोटी वला खाना
की करतै मनुखो एहि जग में
महगाई छै मनुखक दिवाना
भूखल रहब मुदा गामे ध क
"मुकुंद " खाएत मिथिले के खाना
बर्ण-१२
मुकुंद "मयंक "
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