बाल गजल-53
पकड़ि आंङुर चलियौ दलानपर बाबा
टहलि एबै गामक सिमानपर बाबा
खेत देखब खरिहानकेँ भरल देखब
लोल कौआ मारैत धानपर बाबा
गाछपर नाचै पात हरियर नुआमे
हमहुँ नाचब कोयलक तानपर बाबा
बेँग कूदै आ घास गैया चरै छै
चोट लागल बकरीक कानपर बाबा
देह चलिते चलिते जखन थाकि जेतै
बाधमे बैसब नव मचानपर बाबा
फाइलातुन-मुस्तफइलुन-फाइलातुन
2122-2212-2122
बहरे-खफीफ
अमित मिश्र
पकड़ि आंङुर चलियौ दलानपर बाबा
टहलि एबै गामक सिमानपर बाबा
खेत देखब खरिहानकेँ भरल देखब
लोल कौआ मारैत धानपर बाबा
गाछपर नाचै पात हरियर नुआमे
हमहुँ नाचब कोयलक तानपर बाबा
बेँग कूदै आ घास गैया चरै छै
चोट लागल बकरीक कानपर बाबा
देह चलिते चलिते जखन थाकि जेतै
बाधमे बैसब नव मचानपर बाबा
फाइलातुन-मुस्तफइलुन-फाइलातुन
2122-2212-2122
बहरे-खफीफ
अमित मिश्र
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