रविवार, 22 जुलाई 2012

गजल

पढ़तै लिखतै बौआ डाँक्टर बनतै
गामे गामे सबहक सेबा करतै

रोगसँ लड़तै रोगी हँसतै गेतै
एकर नामसँ सबटा रोगो डरतै

अपनो बोखारक चिन्ता नै करतै
फर्जी डाँक्टर के चोरी नै चलतै

नामी लोकक किछु कहलो नै करतै
कमजोरो के ओ भैयारी बुझतै

टाका के लोभी कहियो नै बनतै
आशीर्वादे टा के इच्छा रहतै

मिथिला माँ के मैथिल बेटा छी ने
संकट हटतै दुश्मन संगे लड़तै

दस टा दीर्घ सब पाँति मे

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तोहर मतलब प्रेम प्रेमक मतलब जीवन आ जीवनक मतलब तों